एक बेहतर अंत की शुरुआत..

[A Tale of Unfortunate Heart Who Fail to keep his feelings in a right way.] जो मिला मुझे वह नियती थी, नहीं उसमें किसी की गलती थी, दिल था ‘बेचारा’ बेचैन हुआ आखिर हसरत इसकी अधूरी थी. चीखा, चिल्लाया, दफ़न हुआ, बस इसकी, इतनी ही अवधि थी.. आँखों के आंसू तब सूखे थे, शायर के … Continue reading एक बेहतर अंत की शुरुआत..